राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी ने लोक सेवा आयोग (पीएससी) को नए युग की नई चुनौतियों का सामना करने में सक्षम बनाने के लिए उसे और भी मजबूत करने की आवश्यकता पर जोड दिया है । आयोग के ७२ वें स्थापना दिवस पर आयोजित समारोह को संबोधन करते हुए राष्ट्रपति भण्डारी नें आयोग की सेवा को ऑनलाइन सिस्टम में बदलने और इसे नागरिक ऐप से जोड़ने के लिए तकनीकी ताकत को अपग्रेड करने के लिए सुझाव भी दिया ।
प्रविधि के प्रयोग सें आयोग की सेवा प्रणाली को प्रभावी, आसान और आबादी के एक बड़े हिस्से के लिए सुलभ बनाने में योगदान देने की उम्मीद भी राष्ट्रपति नें की । राष्ट्रपति ने देश में हुए राजनीतिक परिवर्तनों के बाद आर्थिक परिवर्तन और प्रगति की दिशा में देश को आगे बढाने में सरकारी सेवा के कर्मचारियों और पूरे सरकारी तंत्र की प्रभावी उपस्थिति का एहसास कराने की आवश्यकता भी जताई ।
सार्वजनिक सेवाओं को प्रभावी बनाने के लिए सही योग्य और दक्ष मानव संसाधनों का चयन करने का जिम्मेवारी आयोग की होने कि बात भी राष्ट्रपति नें बताई । राष्ट्रपति ने आशा व्यक्त की कि संवैधानिक अधिकारों के साथ एक स्वतंत्र निकाय के रूप में कार्यरत आयोग मेधावी मानव संसाधनों का चयन करने के लिए प्रतिबद्ध रहेगी । उन्होंने यह भी कहा कि आयोग संबंधित लोगों की क्षमता बढ़ाने और उम्मीदवार चयन प्रणाली में सुधार के लिए प्रशिक्षण और अभिविन्यास सुनिश्चित करने पर भी ध्यान देगी । उन्होंने कहा कि आयोग योग्यता, निष्पक्षता, समान अवसर, समावेशी और गोपनीयता के सिद्धांतों पर काम कर रही है और लोगों के स्तर पर एक मिसाल कायम कर रही है ।
देश के सबसे पुराने संवैधानिक निकाय के रूप में आयोगको को सिविल सेवा के पदों पर नियुक्त होने वाले उपयुक्त उम्मीदवारों के चयन के लिए परीक्षा सञ्चालन करने का कर्तव्य सौंपा गया है । इसके अलावा, नेपाली सेना, नेपाल पुलिस या सशस्त्र पुलिस बल, या संघीय सरकारी सेवाओं और कॉर्पोरेट निकायों में भर्ती के लिए लिखित परीक्षा सञ्चालन करने का भी कर्तव्य आयोग का है ।
समारोह में आयोग के पूर्व सदस्य गौरी लाल दास को सम्मानित किया गया था । आयोग की स्थापना १५ जून १९५१ को हुई थी ।